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प्लांट ग्रोथ रेगुलेटर से फसल की बढ़ेगी उपज, जानें कैसे और कहां करें उपयोग

Plant Growth Regulator Uses: फसल से अच्छी पैदावार पाने के लिए प्लांट ग्रोथ रेगुलेटर का इस्तेमाल अच्छा विकल्प साबित हो सकता है. दरअसल, आज के समय में किसानों के द्वारा प्लांट ग्रोथ के लिए इस विधि को तेजी से अपनाया जा रहा है. ऐसे में आइए इस लेख में इसके बारे में विस्तार से जानते हैं.

हेमन्त वर्मा
Plant Growth
प्लांट ग्रोथ रेगुलेटर , सांकेतिक तस्वीर

Plant Growth Regulator: बाजार में कई तरह के प्लांट ग्रोथ रेगुलेटर (PGR) उपलब्ध हैं जो विभिन्न तरह की फसलों में अलग-अलग मात्रा में प्रयोग किए जाते हैं. ताकि किसानों को फसल के विकास में अधिक मेहनत करने की जरूरत न पड़े. अक्सर देखा गया है कि फसल की वृद्धि को लेकर किसान बाजार से महंगे उपकरण व दवाइयों का इस्तेमाल करते हैं. लेकिन फिर भी किसानों को इससे अधिक फायदा नहीं पहुंचता है. अगर आप भी अपने खेत के पौधों की ग्रोथ/Growth of plants को सही तरह से विकसित करना चाहते हैं, तो आइए जानते हैं ऐसे कुछ खास प्लांट ग्रोथ रेगुलेटर के बारे में जो कि फसल की उपज/Crop Yield बढ़ाने में काफी योगदान देते है. 

अल्फा नेफ़थाइल एसिटिक एसिड/Alpha Naphthyl Acetic Acid 4.5% SL

यह रसायनिक हार्मोन बाजार में प्लानोफिक्स/Planofix, सुपरफिक्स, अनमोल आदि ब्राण्ड के नाम से जाना जाता है. इसकी मात्रा 45 मिली प्रति 200 लीटर पानी में मिलाकर एक एकड़ खेत में स्प्रे किया जाता है.

अल्फा नेफ़थाइल एसिटिक एसिड के कार्य

  • इसमें NAA हार्मोन होता है, जिसका कार्य इसका उपयोग फूल उत्प्रेरण के उद्देश्य से उपयोग किया जाता है, फूलों की कलियों और फलों को गिरने से रोका जाता है.

  • यह फलों के आकार को बढ़ाने, फलों की गुणवत्ता और उपज को बढ़ाने और बेहतर बनाने में मदद करता है.

जिब्रेलिक एसिड/Gibberellic Acid 0.001%         

यह बाजार में होशी, मेक्सयल्ड, प्राइम गोल्ड आदि ब्राण्ड नाम से मिलता है. जिब्रेलिक एसिड हार्मोनल और एंजाइमी गतिविधि को उत्तेजित करके  फसल की शारीरिक दक्षता में सुधार करता है और उत्पाद  की उपज और गुणवत्ता को बढ़ाता है और कोशिका  वृद्धि को बढ़ाता है. जिससे फसल की उपज की गुणवत्ता और गुणवत्ता को बढ़ाता है. इसकी 1 लीटर पानी में 1 मिली मात्रा का उपयोग छिड़काव के रूप में किया जाता है. इसको सुबह या शाम के समय प्रयोग करना चाहिए. यह धान, कपास, सोयाबीन, आलू, टमाटर, भिंडी, गोभी, बैंगन, मूँगफली, गन्ना, केला, अंगूर आदि फसलों में प्रयोग किया जा सकता है. 

जिब्रेलिक एसिड का कार्य

  • पौधे की वनस्पति और प्रजनन चरण के दौरान अधिक प्रकाश संश्लेषण और पौधों के चयापचय को सक्षम बनाता है.

  • यह बड़े पत्तों और एक बेहतर जड़ प्रणाली के उत्पादन को उत्तेजित करता है. यह ग्रोथ हार्मोन कोशिका बढ़ाव को उत्तेजित करते हैं और एक पौधे को दाने बनने के दौरान बेहतर बढ़ने का कारण बनाते हैं.

  • यह पौधे की वृद्धि प्रक्रियाओं में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है, जैसे कि स्टेम बढ़ाव, बेहतर फूल और अनाज या फल का निर्माण करना जिसमें अनाज या फल की परिपक्वता भी शामिल है.

  • यह हार्मोन पौधे के आकार को बढ़ाता है और अनाज,फलों के निर्माण को बढ़ाता है.

  • यह बेहतर फल का आकार प्राप्त करने में मदद करता है.

अमीनो एसिड/Amino Acid   

अमीनो एसिड Isabion, Fantac Plus, Fruit Energy, Sumino आदि ब्रांड में पाया जाता है. इसकी मात्रा 300-400 मिली प्रति एकड़ प्रयोग की जा सकती है. 

अमीनो एसिड का कार्य  

  • अमीनो एसिड पौधों की वृद्धि वाले पदार्थों और आवश्यक खनिजों से समृद्ध होता है.

  • इसका उपयोग धान, मूंगफली, गन्ना, आलू, मिर्च, प्याज तथा लगभग सभी फसलों में किया जाता है.

  • फलों के आकार, गुणवत्ता और रंग में सुधार करता है तथा फूल और फल को गिरने से रोकता है.

एस्कॉफ़िलम नोडोसुम माइक्रो फर्टिलाइजर/Ascophyllum nodosum

यह Biovita, हार्बोजाइम, Agrofert ब्रांड के नाम से जाना जाता है. यह समुद्री शैवाल Ascophyllum nodosum पर आधारित है, जो कृषि उपयोग के लिए बेहतरीन है. इसके इस्तेमाल से पौधों को प्राकृतिक रूप से संतुलित पोषक तत्व उपलब्ध होकर पौधों के विकास में मदद करता है. इसकी लिक्विड मात्रा 400 मिली प्रति एकड़ रखनी चाहिए. इसके साथ शाकनाशी के इस्तेमाल से बचना चाहिए.

एस्कॉफ़िलम नोडोसुम के कार्य/Functions of Ascophyllum Nodosum

  • यह समुन्द्री वीड जैविक रूप में एंजाइम, प्रोटीन, साइटोकिनिन, अमीनो एसिड, विटामिन, जीबेरेलिन, ऑक्सिन, आदि हार्मोन को उत्तेजित कर पोषक तत्व और पौधे में विकास पदार्थ प्रदान करता है.

  • यह स्वस्थ पादप विकास के लिए सभी घटकों को संतुलित रूप में प्रदान करता है.

  • मिट्टी में देने से पौधों को पोषक तत्व की उपलब्धता बढ़ने लगती है और जमीन में माइक्रोबियल गतिविधि बढ़ने में योगदान देता है.

  • यह एक आदर्श जैविक उत्पाद है, जिसका उपयोग सभी प्रकार के पौधों पर किया जा सकता है, चाहे वे इनडोर, आउटडोर, गार्डन, नर्सरी, लॉन, टर्फ, कृषि या वृक्षारोपण फसलें हों.

क्लोरमेकट क्लोराइड/Chlormequat Chloride

यह लिहोसिन, Layer ब्रांड के नाम से जाना जाता है जिसमें Chlormequat Chloride 50% SL फोर्मूलेशन पाया जाता है. इसकी मात्रा या डोज़ 150-250 मिली/ एकड़ (सोयाबीन, मूंगफली, पपीता, लहसुन, प्याज, गेहूं) में, 80-100 मिली/ एकड़ (बैंगन) में, 40-50 मिली/ एकड़ (भिंडी) में, 30-50 मिली/ एकड़ (आलू) में, 20-25 मिली/ एकड़ (कपास) में, 0.6-1 मिली/ लीटर पानी (अंगूर) में स्प्रे के रूप में किया जाता है.

क्लोरमेकट क्लोराइड का कार्य/Function of Chlormecut Chloride

  • यह वानस्पतिक विकास और प्रजनन प्रणाली को बढ़ाने के लिए अनुशंसित किया जाता है. यह आमतौर पर फूलों को खिलाने के लिए उपयोग किया जाता है.

  • इसका इस्तेमाल अंकुरण के 30 से 45 दिन बाद 15 दिनों के अंतराल पर दो स्प्रे करने चाहिए.

  • यह सोयाबीन, मूंगफली, पपीता, लहसुन, प्याज, गेहूं, बैंगन, भिंडी, आलू, कपास, अंगूर आदि में उपयोग किया जाता है.

English Summary: Use of Plant Growth Regulators and in which crops Published on: 30 January 2021, 09:10 AM IST

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